Secure Sockets Layer के बिना, जब उपयोगकर्ता एक Website पर जाता है, उनका ब्राउज़र transferred data को सुरक्षित रूप से नहीं रखता है। इससे data hack होने की संभावना होती है और user के confidential information चोरी हो सकती है।
SSL का उपयोग करने से user’s को विश्वसनीयता और भरोसा बढ़ता है, क्योंकि वे जानते हैं कि उनकी website secure है और उनकी जानकारी को कोई दूसरा नहीं देख सकता है।
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SSL का उपयोग करने से Website की ranking और traffic भी बढ़ता है, क्योंकि गूगल जैसे Search engine SSL सुरक्षा को एक महत्वपूर्ण कारक मानते हैं और उन्हें अधिक प्राथमिकता देते हैं।
आज इस आर्टिकल में आपको SSL का फुल फॉर्म क्या है ? SSL क्या होता है ? प्रकार , इतिहास और इसके फायदे और TLS और SSL में क्या अंतर है पूरी जानकरी के लिए अंत तक जरुर बनें रहे ।
SSL Full Form in Hindi
SSL Full Form In Hindi “Secure Sockets Layer” है। यह एक सुरक्षा प्रोटोकॉल है जो वेबसाइट और ब्राउज़र के बीच एक encrypted link बनाता है। इससे आपका निजी डेटा सुरक्षित रूप से online transfer होता है।
SSL का इस्तेमाल करने वाली Website का यूआरएल https:// से शुरू होता है। आप Website के SSL सर्टिफिकेट को browser के एड्रेस बार में ताले के चिह्न पर Click करके देख सकते हैं।
S | Secure | सिक्योर |
S | Sockets | सॉकेट्स |
L | Layer | लेयर |
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Secure Sockets Layer क्या होता है ?
Secure Sockets Layer (SSL) एक सुरक्षा प्रोटोकॉल है जो इंटरनेट पर संचार करने वाले डिवाइसों के बीच privacy, authentication, और data integrity provide करता है।
इस प्रोटोकॉल का उपयोग वेबसाइट और ब्राउज़र के बीच डेटा को encrypt करने के लिए किया जाता है, ताकि कोई भी इसे intercept न कर सके।
SSL को 1995 में Netscape द्वारा विकसित किया गया था, और इसे बाद में Transport Layer Security (TLS) में बदल दिया गया। SSL और TLS के बीच ज्यादा अंतर नहीं है, बस इनके नाम और विकासक अलग हैं।
SSL और TLS का उपयोग करने वाली Website का यूआरएल https:// से शुरू होता है।
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SBI SSL क्या है?
SBI SSL ज्यादातर दो अलग-अलग चीजों के लिए use होता है जैसे –
SBI सिक्योरिटीज लिमिटेड
SBI Securities Limited (SSL) एक stock broking कंपनी है, जो स्टेट बैंक समूह की एक सहायक कंपनी है। यह विभिन्न प्रकार की वित्तीय सेवाएं जैसे कि Equity, Derivatives, Depository, Online Trading, आदि प्रदान करती है।
SBI SSL
SBI SSL Certificate एक डिजिटल प्रमाणपत्र है, जो SBI की Website को सुरक्षित बनाता है। यह Website और ब्राउज़र के बीच एक encrypted connection बनाता है, जिससे आपका Data सुरक्षित रहता है।
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SSL के दुसरे फुल फॉर्म
SSL | Space Station Laboratory | अंतरिक्ष स्टेशन |
SSL | Standard Spending Level | आर्थिक मापदंड |
SSL | Sub Sea Level | भौगोलिक मापदंड |
SSL का इतिहास क्या है ?
SSL के विभिन्न Version जो निम्न प्रकार के है –
SSL 1.0 Version
यह SSL का पहला Version था, जिसे 1994 में Netscape ने विकसित किया था। लेकिन इसमें कुछ सुरक्षा कमियां थीं, जिसके कारण इसे कभी जारी नहीं किया गया।
SSL 2.0 Version
यह SSL का दूसरा Version था, जिसे 1995 में जारी किया गया था। इसमें भी कुछ सुरक्षा समस्याएं थीं, जैसे कि वीक सिफर सूट,Man-in-the-middle attack और Truncated MAC।
SSL 3.0 Version
यह SSL का तीसरा Version था, जिसे 1996 में जारी किया गया था। इसमें SSL 2.0 की कमियों को दूर किया गया था और इसमें नए फीचर्स जोड़े गए थे, जैसे कि Handshake Protocol, Padding और forward security।
SSL 3.0 Version
को काफी लंबे समय तक उपयोग किया गया, लेकिन 2014 में POODLE अटैक के बाद इसे असुरक्षित माना गया।
TLS 1.0 Version
यह SSL का एक updated और अधिक सुरक्षित वर्जन है, जिसे 1999 में जारी किया गया था। इसमें SSL 3.0 के मुकाबले कुछ बदलाव किए गए थे, जैसे कि hash algorithm, record protocol और हैंडशेक प्रोटोकॉल।
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TLS 1.1 Version
यह TLS का दूसरा Version है, जिसे 2006 में जारी किया गया था। इसमें TLS 1.0 के कुछ सुधार किए गए थे, जैसे कि Ivy block cipher, explicit beat padding and और एडिशनल अलर्ट।
TLS 1.2 Version
यह TLS का तीसरा Version है, जिसे 2008 में जारी किया गया था। इसमें TLS 1.1 के कुछ नए फीचर्स जोड़े गए थे, जैसे कि AEAD cipher, hash algorithm, extension और रेनोमेशन।
TLS 1.3 Version
यह TLS का चौथा और सबसे वर्तमान Version है, जिसे 2018 में जारी किया गया था। इसमें TLS 1.2 के कुछ बदलाव किए गए थे, जैसे कि handshake protocol, जो अब एक round trip करता है, जिससे कनेक्शन तेज होता है, और week cipher suite, जो अब Deprecate हो गए हैं।
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SSL Certificate के कितने प्रकार के होते है ?
Single Domain SSL Certificate
यह सिर्फ एक ही Domain के लिए काम करता है। इसका उपयोग छोटे और मध्यम आकार की websites के लिए किया जाता है।
Wildcard SSL Certificate
यह एक ही Domain के साथ सभी subdomain के लिए काम करता है। इसका उपयोग एक से अधिक subdomain वाली websites के लिए किया जाता है।
Multi-Domain SSL Certificate (MDC)
यह एक से अधिक अलग-अलग Domain के लिए काम करता है। इसका उपयोग विभिन्न Domain वाली websites के लिए किया जाता है।
Extended Validation SSL Certificate (EV SSL)
यह सबसे उच्च स्तर का SSL Certificate है, जो वेबसाइट की पहचान, Ownership, and certification को verified करता है। इसका उपयोग बड़े और विश्वसनीय websites के लिए किया जाता है।
Organization Validation SSL
Organization Validation SSL (OV SSL) एक प्रकार का SSL Certificate है, जो वेबसाइट के owner identity, place, और Organization की जानकारी को verified करता है।
इस प्रकार का SSL Certificate उन websites के लिए उपयुक्त है, जो अपने ग्राहकों को अपनी वास्तविकता और Reliability दिखाना चाहते हैं।
Domain validated SSL
Domain validated SSL (DV SSL) एक प्रकार का SSL Certificate है, जो वेबसाइट के Owner की पहचान को सिर्फ उसके Domain के आधार पर verified करता है। इस प्रकार का SSL Certificate बहुत जल्दी और आसानी से प्राप्त किया जा सकता है, लेकिन इसका सुरक्षा स्तर कम होता है।
Code Signing Certificate
एक digital certificate है, जो software developers को अपने कोड को डिजिटल रूप से हस्ताक्षरित करने के लिए उपयोग करते हैं। इससे उनके user यह जांच सकते हैं कि उन्हें जो Code मिला है, वह किसी तीसरे पक्ष द्वारा changed or spoiled नहीं किया गया हो ।
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Code Signing Certificate के दो प्रकार होते हैं
Standard Code Signing Certificate
यह एक साधारण प्रकार का SSL Certificate है, जो वेबसाइट के owner की पहचान और Code की integrity को प्रमाणित करता है।
Extended Validation Code Signing Certificate (EV SSL)
यह एक उन्नत प्रकार का SSL Certificate है, जो वेबसाइट के owner की पहचान, स्थान, और संगठन की जानकारी को verified करता है। इसके लिए Website के स्वामी को एक Certificate Authority (CA) को अपने संगठन के बारे में कुछ Document और प्रमाण प्रस्तुत करने होंगे।
Code Signing Certificate के उपयोग से आपके users को आपके कोड की वास्तविकता और विश्वसनीयता का भरोसा होता है, और आपके कोड को किसी भी प्रकार के hacking या malware से बचाता है।
SSL Certificate के फ़ायदे
SSL Certificate के कई फ़ायदे हैं, जो निम्न प्रकार के है –
- SSL Certificate आपके Website और browser के बीच डेटा को encrypt करता है, जिससे आपका संवेदनशील Information सुरक्षित रहता है।
- SSL Certificate आपकी Website की पहचान, स्वामित्व, और प्रमाणीकरण को verified करता है, जिससे आपके ग्राहकों का विश्वास बढ़ता है।
- SSL Certificate आपकी Website को search engine ranking में सुधार करता है, क्योंकि गूगल और अन्य सर्च इंजन SSL सुरक्षित Website को प्राथमिकता देते हैं।
- SSL Certificate आपको PCI/DSS नियमों को पूरा करने में मदद करता है, जो Online लेनदेन करने वाली Website के लिए आवश्यक हैं।
SSL कैसे काम करता है ?
SSL प्रमाणपत्र एक digital documents है, जो एक वेबसाइट की पहचान, स्वामित्व, और encryption की क्षमता को प्रमाणित करता है। यह प्रमाणपत्र एक विश्वसनीय प्राधिकरण द्वारा जारी किया जाता है, जिसे CA (Certificate Authority) कहते हैं।
SSL प्रोटोकॉल एक तकनीक है, जो वेबसाइट और ब्राउज़र के बीच एक सुरक्षित कनेक्शन स्थापित करता है। यह कनेक्शन एक public key और एक private key का उपयोग करके डेटा को एन्क्रिप्ट और डिक्रिप्ट करता है।
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SSL का काम करने का तरीका निम्नलिखित है:
- जब आप एक SSL सुरक्षित वेबसाइट पर जाते हैं, तो आपका browser उस Website के सर्वर से एक SSL handshake करता है।
- इस handshake के दौरान, सर्वर अपना SSL प्रमाणपत्र और अपनी public key ब्राउज़र को भेजता है।
- ब्राउज़र उस SSL certificate को verify करता है, और यदि वह मान्य है, तो वह सर्वर को एक Acceptance मैसेज भेजता है।
- ब्राउज़र और सर्वर फिर एक secret key बनाते हैं, जो एक session key कहलाता है। यह session key उनके बीच के सभी डेटा को encrypt करने के लिए उपयोग किया जाता है।
- ब्राउज़र और सर्वर अब एक SSL सुरक्षित connection के माध्यम से डेटा का आदान-प्रदान कर सकते हैं, जिसे कोई भी तीसरा पक्ष नहीं पढ़ सकता है।
TLS और SSL में क्या अंतर है ?
SSL | TLS |
---|---|
SSL का पूरा नाम Secure Sockets Layer है। | TLS का पूरा नाम Transport Layer Security है। |
TLS, SSL का अपडेटेड वर्शन है | जो SSL से अधिक सुरक्षित होता है। |
SSL का अंतिम version 3.0 था | जबकि TLS का सबसे वर्तमान version 1.3 है। |
SSL में MD5 और SHA-1 हैश एल्गोरिथ्म का उपयोग होता था जो अब असुरक्षित माने जाते हैं। | TLS में SHA-256 या SHA-384 हैश एल्गोरिथ्म का उपयोग होता है जो अधिक सुरक्षित हैं। |
SSL में रिकॉर्ड प्रोटोकॉल में MAC (Message Authentication Code) का उपयोग होता था जो डेटा की integrity और प्रामाणिकता को सत्यापित करता था। | TLS में रिकॉर्ड प्रोटोकॉल में HMAC (Hashed Message Authentication Code) का उपयोग होता है जो एक अधिक सुरक्षित MAC है। |
SSL में handshake protocol में एन्क्रिप्शन कीज़ और एन्क्रिप्शन एल्गोरिथ्म का चयन करने के लिए एक fixed method का उपयोग होता था। | TLS में handshake protocol में एन्क्रिप्शन कीज़ और एन्क्रिप्शन एल्गोरिथ्म का चयन करने के लिए एक flexible method का उपयोग होता है। |
Free SSL सर्टिफिकेट कैसे बनाएं ?
free SSL certificate बनाने के लिए आपको एक Website और एक free SSL प्रदाता की जरूरत होगी। Website के लिए आप अपना खुद का Domain and Hosting ले सकते हैं, या फिर किसी मुफ्त Web Hosting सेवा का उपयोग कर सकते हैं।
free SSL प्रदाता के लिए आप इनमें से किसी भी Website का चयन कर सकते हैं:
Let’s Encrypt
यह एक लोकप्रिय और विश्वसनीय फ्री SSL प्रदाता है, जो आपको 90 दिनों के लिए domain validated (DV) SSL सर्टिफिकेट देता है। आप इसे अपने web hosting control panel से, या फिर किसी online tools के माध्यम से इंस्टॉल कर सकते हैं।
Cloudflare
यह एक web performance और सुरक्षा कंपनी है, जो आपको अपनी Website को उनके नेटवर्क पर लाने की अनुमति देती है। इससे आपकी वेबसाइट तेज, सुरक्षित, और उपलब्ध रहती है।
आप अपने डोमेन को Cloud flare के साथ जोड़कर एक Free SSL certificate प्राप्त कर सकते हैं, जो आपकी Website और उनके सर्वर के बीच एक encrypted connection बनाता है।
SSL For Free
यह एक online tools है, जो आपको Let’s Encrypt के माध्यम से free SSL certificate बनाने में मदद करता है। आपको बस अपना domain नाम दर्ज करना है, और फिर एक Verification Method चुनना है – जैसे कि Email, DNS, or HTTP फिर आपको एक ज़िप File मिलेगी, जिसमें आपका certificate और Key होंगी, जिन्हें आपको अपने Web Hosting में upload करना होगा।
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FAQ Of SSL (अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न)
प्रश्न 1. SSL का फुल फॉर्म क्या है ?
SSL का पूरा नाम “Secure Sockets Layer” है। यह एक सुरक्षा प्रोटोकॉल है ।
प्रश्न 2. SSL का क्या उपयोग करता है ?
SSL का उपयोग website को सुरक्षित बनाने के लिए किया जाता है। SSL website और ब्राउज़र के बीच डेटा को encrypt करता है।
जिससे कोई भी इसे intercept न कर सके। SSL website की पहचान, स्वामित्व, और authentication को verified करता है, जिससे users का विश्वास बढ़ता है।
Laxmi Shankar इस Blog के फाउंडर और लेखक है जो इस ब्लॉग पर Education, Technology, Financial , Internet और सामान्य फुल फॉर्म के बारे में लेख प्रकाशित करते है । अगर इन विषयों से सम्बंधित कोई जानकारी चाहिए तो आप जरुर पूछ सकते है ।